देवल संवादाता,मऊ। सामाजिक वानिकी प्रभाग मऊ** द्वारा *विश्व वेटलैंड दिवस* के अवसर पर *पकड़ी ताल* स्थित गाँव में विश्व वेटलैंड दिवस और वर्ड फेस्टिवल* एवं जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर वेटलैंड्स के महत्व को रेखांकित करने के लिए एक गोष्ठी आयोजित की गई, जिसमें *मुख्य अतिथि दोहरीघाट नगर पंचायत के श्री विनय जायसवाल* उपस्थित रहे। गोष्ठी को संबोधित करते हुए जायसवाल ने कहा,"हमें गर्व होना चाहिए कि मऊ जनपद में कई महत्वपूर्ण वेटलैंड्स हैं, जिन्हें 'लाल तालिया' के रूप में जाना जाता है। ये जल निकाय पारिस्थितिक संतुलन बनाए रखने में अहम भूमिका निभाते हैं और पर्यावरण संरक्षण में सहायक होते हैं।" उन्होंने ग्रामवासियों से अपील की कि वे लाल तालिया के आसपास *कंपोस्ट एवं जैविक खाद* का उपयोग करें तथा *रासायनिक कीटनाशकों से बचें,क्योंकि ये न केवल जलाशयों को प्रदूषित करते हैं बल्कि इन जल स्रोतों में रहने वाले जीव-जंतुओं और पक्षियों को भी नुकसान पहुँचाते हैं।कार्यक्रम के दौरान "पंछी और हमारा पर्यावरण" विषय पर **चित्रकला प्रतियोगिता* का आयोजन किया गया,जिसमें प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया गया। इसके बाद छात्रों को *पकड़ी ताल* के समीप ले जाकर *प्रवासी पक्षियों का अवलोकन* कराया गया। स्थानीय बच्चों ने दूरबीन की सहायता से पक्षियों की प्रजातियों का निरीक्षण किया और उनके महत्व को समझा।
इस अवसर पर *सामाजिक वानिकीय प्रभाग निदेशक पी. के. पांडे* ने अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित किया।दोहरीघाट के रेंजर श्री सतवंत कुमार और Ghoshi के रेंजर श्री रवि प्रकाश** ने *वेटलैंड्स के वैज्ञानिक महत्व* पर चर्चा की और इनके संरक्षण की आवश्यकता पर जोर दिया। कार्यक्रम का संचालन कर रहे *जिला परियोजना अधिकारी डॉ. हेमंत कुमार यादव* ने कहा, *"ताल-तलैया और इनमें उगने वाले पौधे पर्यावरण के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। उदाहरण के लिए, जहाँ-जहाँ मैंग्रोव वनस्पतियाँ पाई जाती हैं,वहाँ सुनामी का प्रभाव अपेक्षाकृत कम देखा गया। इसी प्रकार,मऊ जिले के वेटलैंड्स बाढ़ के प्रभाव को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।कार्यक्रम में एसडीओ रामसूरत यादव,कनौजिया,राम अधीन पांडे,हरिद्वार उच्च माध्यमिक विद्यालय की प्राचार्या सुनीता यादव,अध्यापिका अन्नपूर्णा सिंह,रीता यादव सहित कई अन्य गणमान्यजन उपस्थित रहे।