देवल संवाददाता, आजमगढ़। जिलाधिकारी श्री रविंद्र कुमार की अध्यक्षता में आज कलेक्ट्रेट सभागार में निराश्रित गोवंश संरक्षण हेतु गठित जनपद स्तरीय अनुश्रवण, मूल्यांकन एवं समीक्षा समिति की बैठक आयोजित की गई।
जिलाधिकारी ने कहा कि गौ आश्रय स्थलों में संरक्षित गोवंशो जैसे नर, मादा, बीमार/अशक्त एवं उनके बच्चों को अलग-अलग रखने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि गौ आश्रय स्थलों से सम्बद्ध चारागाहों में पर्याप्त हरे चारे बोने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि ऐसे गौ आश्रय स्थल जहां पर हरे चारे की व्यवस्था नहीं है, वहां संबंधित एसडीएम से मिलकर जमीन की व्यवस्था सुनिश्चित करते हुए हरे चारे की बुवाई सुनिश्चित की जाए। जिलाधिकारी ने कहा कि नगरीय क्षेत्रों में गौ आश्रय स्थलों में पशुओं के हरे चारे के लिए जहां जमीन की उपलब्धता नहीं है, वहां नजदीकी ग्रामों में राजस्व विभाग से जमीन लेकर हरे चारे की बुवाई सुनिश्चित कराएं। उन्होंने कहा कि पशुओं को दिए जाने वाले साइलेज की गुणवत्ता सुनिश्चित हो।
जिलाधिकारी ने समस्त खंड विकास अधिकारियों को निर्देश दिया कि गौ आश्रय स्थलों का भ्रमण करें तथा वहां पशुओं के खान-पान, टीकाकरण एवं चिकित्सकीय उपचार तथा बरसात के दृष्टिगत गौ आश्रय स्थलों में जल जमाव न हो, इसकी व्यवस्था सुनिश्चित कराएं।
इसके साथ ही जिलाधिकारी ने निराश्रित गोवंश संरक्षण/सहभागिता योजना एवं गौ आश्रय स्थलों पर सीसीटीवी कैमरे लगाने आदि के संबंध में आवश्यक दिशा निर्देश दिए।
जिलाधिकारी ने कहा कि तहसील सगड़ी के बाढ़ से प्रभावित होने वाले 78 ग्रामों के पशुओं को बाढ़ आने से पहले ही सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट कर दिया जाए तथा समस्त पशुओं का टीकाकरण एवं इयर टैगिंग शत प्रतिशत सुनिश्चित कराई जाए।
उप मुख्य चिकित्साधिकारी द्वारा अधूरी जानकारी देने पर जिलाधिकारी ने कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए वेतन रोकने के निर्देश दिए। पूर्व में भी निर्देश दिया गया था कि निर्धारित प्रारूप पर ही सूचना उपलब्ध कराई जाए, इसके बावजूद भी निर्धारित प्रारूप पर सूचना उपलब्ध नहीं कराई गई।
बैठक में अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व श्री गंभीर सिंह, जिला विकास अधिकारी श्री संजय कुमार सिंह, डीसी मनरेगा श्री राम उदरेज यादव, परियोजना निदेशक, समस्त खंड विकास अधिकारी एवं पशुपालन विभाग के अधिकारी सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।